बॉर्डर रोड ऑर्गनाइजेशन ने LAC पर बनाई सड़क: यह चीन को नजर नहीं आएगी; दौलत बेग ओल्डी तक आसानी से मिलिट्री सपोर्ट पहुंचेगा

8 मिनट पहले

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सासोमा से सासेर ला के बीच 52 किमी की दूरी में से 46 किमी की सड़क को ब्लैकटॉप कर दिया गया है। केवल 6 किमी का हिस्सा ही बाकी है। - Dainik Bhaskar

सासोमा से सासेर ला के बीच 52 किमी की दूरी में से 46 किमी की सड़क को ब्लैकटॉप कर दिया गया है। केवल 6 किमी का हिस्सा ही बाकी है।

भारत ने गलवान में चीन से चल रहे सीमा विवाद के बीच लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए एक नई सड़क बनाई है। यह सड़क LAC से काफी दूर है, इसलिए इसे चीन की PLA आर्मी बॉर्डर पार से नहीं देख सकेगी।

बॉर्डर रोड ऑर्गनाइजेशन (BRO) नुब्रा वैली के सासोमा से दौलत बेग ओल्डी (DBO) तक 130 किमी की यह सड़क बना रहा है। जिसका काम इस साल नवंबर तक पूरा होने की उम्मीद है। वहीं, दिसंबर 2024 तक इसे आम जनता के लिए खोल दिया जाएगा।

लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल से दूर, इसलिए मिलिट्री ऑपरेशन रुकेंगे नहीं
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक डारबुक से DBO तक जाने वाली मौजूदा सड़क 255 किमी लंबी है। जो LAC के साथ-साथ चलती है। इस पर होने वाली हर हरकत पर चीन के सैनिकों की नजर रहती है। लेकिन इस सड़क पर सासोमा, सासेर ला, सासेर ब्रांग्सा, गपशान महत्वपूर्ण पड़ाव होंगे। यह सड़क चीनी सैनिकों की नजर में नहीं आएगी।

नॉर्दन ईस्ट कमांड के रिटायर्ड सेना कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल डीएस हुडा के मुताबिक, ‘सब सेक्टर नॉर्थ’ में काराकोरम दर्रा, देपसांग मैदान और डीबीओ लैंडिंग ग्राउंड शामिल है। मौजूदा सड़क पर ऑपरेशन रोके जा सकते हैं, लेकिन यह नई सड़क सुरक्षित होगी, यानी इस पर मिलिट्री ऑपरेशन रोके जाने के हालात नहीं बनेंगे।

इस सड़क से जुड़ी खास बातें …

  • 130 किमी की यह सड़क सासोमा से शुरू होगी। लेह से दो अलग-अलग सड़क मार्गों से ससोमा और डारबुक पहुंचा जा सकता है।
  • सासेर ला और सासेर ब्रांग्सा के बीच कनेक्टिविटी हो गई है। 27 किमी लंबे रास्ते की ब्लैकटॉपिंग अक्टूबर 2024 तक पूरी हो जाएगी।
  • सासेर ब्रांग्सा से मुर्गो तक 18 किमी की सड़क में श्योक नदी पर सात खंभों वाला 345 मीटर का पुल बनाया जाना है।
  • इस सड़क को पूरा करने में 2000 लोग लगे हुए हैं। फिलहाल इस रोड को बनाने का काम सबसे कठिन फेज में है।

सड़क का काम पूरा होने पर सुरंग भी बनाएगा BRO
हर मौसम में कनेक्टिविटी सुनिश्चित करने के लिए बीआरओ ने सासेर ला के नीचे 7 किमी लंबी सुरंग की योजना बनाई है। इस पर काम 2025 में शुरू होने की संभावना है, जिसे 2028 तक पूरा कर लिया जाएगा। बीआरओ ने पिछले तीन साल में 8000 करोड़ लागत वाले लगभग 300 महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट पूरे किए हैं। इन प्रोजेक्ट्स में निमू-पदम-दारचा सड़क, चुशुल-डुंगती-फुकचे-डेमचोक सड़क और लिकारू-मिग ला-फुकचे सड़क शामिल हैं।

भारत-चीन सीमा पर मौजूदा स्थिति क्या है
13 और 14 अगस्त को दोनों देशों की सेनाओं के कोर कमांडरों के बीच 19वें दौर की चर्चा हुई थी। इसमें दोनों पक्ष बातचीत के जरिए एलएसी से जुड़े मुद्दों को हल करने पर सहमत हुए हैं।भारतीय और चीनी सैनिक अब तक गलवान घाटी, पैंगोंग त्सो, गोगरा (पीपी-17ए) और हॉट स्प्रिंग्स (पीपी-15) से पीछे हट चुके हैं।

हालांकि, दोनों सेनाओं के पास अभी भी लद्दाख क्षेत्र में हजारों सैनिक और एडवांस हथियार तैनात हैं, और देपसांग और डेमचोक की समस्याओं पर टेबल टॉक जारी है।

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