फरीदकोट रियासत प्रॉपर्टी पर SC का फैसला: महाराजा हरिंदर बराड़ की वसीयत गैरकानूनी करार; शाही परिवार को मिलेगी 25 हजार करोड़ की संपत्ति

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चंडीगढ़23 मिनट पहले

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सुप्रीम कोर्ट ने फरीदकोट रियासत में प्रॉपर्टी के झगड़े में बड़ा फैसला दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने महाराजा हरिंदर सिंह बराड़ की वसीयत को गैरकानूनी करार दे दिया। जिसके बाद उसके आधार पर बने ट्रस्ट को खत्म कर दिया है। अब फरीदकोट रियासत की 25 हजार करोड़ की संपत्ति शाही परिवार को मिलेगी। सुप्रीम कोर्ट ने इसे परिवार को बांटने के लिए कहा है।

अभी तक इस संपत्ति को महारावल खेवाजी ट्रस्ट संभाल रहा था। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद 30 सितंबर को ट्रस्ट खत्म हो जाएगा। इसके बाद संपत्ति शाही परिवार में बांटने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी।

महाराज ने बेटी को किया था बेदखल
फरीदकोट रियासत के अंतिम महाराज हरिंदर सिंह बराड़ ने मौत से पहले एक वसीयत बनाई थी। जिसमें अपनी बेटी अमृतपाल कौर को शाही संपत्ति से बेदखल कर दिया था। उन्होंने संपत्ति की देखभाल के लिए महारावल खीवा जी ट्रस्ट की स्थापना की थी।

बेदखली के खिलाफ कोर्ट पहुंची राजकुमारी
बेदखली के खिलाफ राजकुमारी अमृतपाल कौर ने कोर्ट में केस दायर कर दिया। उन्होंने महाराजा हरिंदर सिंह की वसीयत को फर्जी होने का दावा किया। इससे पहले 3 अदालतों में वसीयत को रद्द करने के आदेश हो चुके थे। इसके बाद मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया। सुप्रीम कोर्ट ने भी निचली अदालतों के फैसले को सही करार देते हुए वसीयत को रद्द कर दिया।

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