केंद्रीय राज्यमंत्री नहीं लिख पाईं सही स्लोगन: 12वीं पास सावित्री ठाकुर ने लिखा-बेढी पडाओ, बच्चाव; कांग्रेस बोली-ये दुर्भाग्यपूर्ण – Dhar News

केंद्रीय राज्यमंत्री सावित्री ठाकुर ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ’ स्लोगन ही ठीक से नहीं लिख पाईं। उन्होंने लिखा- बेढी पडाओ, बच्चाव। ठाकुर मोदी कैबिनेट में महिला बाल विकास राज्य मंत्री हैं।

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मामला धार में मंगलवार का है। यहां तीन दिवसीय प्रवेशोत्सव कार्यक्रम की शुरुआत करने के लिए केंद्रीय राज्यमंत्री सावित्री ठाकुर को बुलाया गया था। वे इस सरकारी कार्यक्रम में शिक्षा रथ को हरी झंडी दिखाने के लिए पहुंची थीं। इसी रथ के फ्लैक्स पर ठाकुर ने गलत स्लोगन लिखा।

मंत्री के गलत स्लोगन लिखने के फोटो और वीडियो वायरल हो रहे हैं। वहीं, नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सोशल मीडिया पर लिखा- जनप्रतिनिधि कैसा होना चाहिए, इसका कोई मापदंड तो तय नहीं है लेकिन कम से कम उसे अक्षर ज्ञान तो होना ही चाहिए।

केंद्रीय राज्यमंत्री सावित्री ठाकुर ने शिक्षा रथ के फ्लैक्स पर ये स्लोगन लिखा था।

केंद्रीय राज्यमंत्री सावित्री ठाकुर ने शिक्षा रथ के फ्लैक्स पर ये स्लोगन लिखा था।

कांग्रेस नेता ने कहा- मंत्री को स्लोगन ही लिखते नहीं आ रहा

कांग्रेस नेता व जिला पंचायत सदस्य मुकाम सिंह अलावा ने फेसबुक पर लिखा- हाल ही में लोकसभा का चुनाव जीतीं सांसद को बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ का स्लोगन लिखना नहीं आ रहा है। बड़ा दुर्भाग्यपूर्ण विषय है।

मोदी मंत्रिमंडल में शामिल होने के लिए ठाकुर से बायोडाटा मांगा गया था, जिसमें उन्होंने अपनी योग्यता हायर सेकेंडरी लिखी थी। 12वीं पास मंत्री को स्लोगन ही लिखते नहीं आ रहा है।’

नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सोशल मीडिया पर यह पोस्ट की।

नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सोशल मीडिया पर यह पोस्ट की।

बीजेपी ने कहा- ये कांग्रेस की आदिवासियों के प्रति नफरत

केंद्रीय मंत्री सावित्री ठाकुर को लेकर कांग्रेस की पोस्ट को बीजेपी ने आदिवासियों के प्रति कांग्रेस की नफरत करार दिया है। बीजेपी मीडिया विभाग के प्रमुख आशीष अग्रवाल ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर लिखा जिस आदिवासी महिला को जनता ने 7 लाख 94 हजार 449 वोटों का आशीर्वाद देकर सांसद बनाया वो आदिवासी महिला कांग्रेस को कैसे पसंद आएगी।

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एमपी के स्कूलों में बच्चों का तिलक-मंत्रों से स्वागत

गर्मियों की छुट्‌टियों के बाद मंगलवार से मध्यप्रदेश के सभी सरकारी स्कूल खुल गए हैं। पहले दिन जब बच्चे स्कूल पहुंचे तो उनका तिलक लगाकर और मंत्रोच्चार से स्वागत किया गया। खरगोन में ढोल-ढमाकों के साथ बच्चों की रैली निकाली गई। बैलगाड़ी भी सजाई गई थी। भोपाल में बच्चों को खीर-पूड़ी और आलू छोले परोसे गए। वहीं, शाजापुर के एक सरकारी स्कूल परिसर में नॉनवेज बनाने का मामला भी सामने आया है। पूरी खबर पढ़ें…