लखनऊ में हजरतगंज स्थित न्यायिक आयोग के ऑफिस से जाते हुए सूरजपाल उर्फ भोले बाबा।
हाथरस भगदड़ के 3 महीने बाद भोले बाबा उर्फ सूरजपाल न्यायिक आयोग के सामने पेश हुआ। गुरुवार को लखनऊ में बंद कमरे में 2.15 घंटे पूछताछ हुई। हाथरस भगदड़ को लेकर सवाल पूछे गए।
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भोले बाबा ने सत्संग में शामिल 1100 लोगों का एक एफिडेविट आयोग को सौंपा। भोले बाबा पीलीभीत से भाजपा विधायक बाबूराम पासवान के साथ फॉर्च्यूनर से न्यायिक आयोग के ऑफिस पहुंचा। इस दौरान ऑफिस के आसपास कड़ी सुरक्षा व्यवस्था रही।
पुलिस ने 1 किमी. का इलाका सील कर दिया था। जनपथ मार्केट की सभी दुकानें बंद करा दीं। जगह-जगह पुलिस और RAF के जवान तैनात रहे। बाबा के लखनऊ आने की सूचना पर उसके अनुयायी बड़ी संख्या में पहुंच गए। पुलिस ने जगह-जगह बैरिकेडिंग कर उनको रोका।
सूरजपाल भाजपा विधायक के साथ पहुंचा। उससे 2.15 घंटे पूछताछ हुई।
दैनिक भास्कर से भोले बाबा के वकील एपी सिंह ने कहा- घटना में बाबा का कोई इंवॉल्वमेंट न पहले था, न ही आज और न भविष्य में रहेगा। उन्हें SIT से क्लीनचिट मिल चुकी है। न्यायिक जांच आयोग ने भी क्लीनचिट दी है। भविष्य में उन्हें पूछताछ के लिए नहीं बुलाने का आश्वासन दिया है।
भोले बाबा जांच में पूरा सहयोग कर रहे हैं। आयोग के सामने उन्होंने कहा- भविष्य में ऐसी घटना न हो, इसे लेकर कठोर कार्रवाई की जाए। कोई भी दोषी बचना नहीं चाहिए।
हाथरस में 2 जुलाई को भोले बाबा के सत्संग में भगदड़ मची थी। इसमें 121 लोगों की मौत हुई थी। योगी सरकार ने हादसे की जांच के लिए न्यायिक अयोग का गठन किया था।
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