विदेश में बैठे कुख्यात गैंगस्टर गोल्डी बराड़ पर चंडीगढ़ पुलिस एक और संगीन मामले में गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत कड़ा एक्शन लेने जा रही है। गोल्डी बराड़ पर डड्डूमाजरा इलाके में फॉर्च्यूनर चालक गुरजीत सिंह भूरा से एक करोड़ रुप
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घटना उस समय की है जब गुरजीत सिंह भूरा जिम से लौट रहे थे। गोल्डी बराड़ के कहने पर उसके गुर्गे हर्षदीप और गुरशरनजीत ने भूरा पर गोलियां चलाईं। यह हमला सिर्फ इसलिए किया गया क्योंकि भूरा ने गोल्डी की मांग के अनुसार एक करोड़ रुपए की रंगदारी देने से इनकार कर दिया था। चंडीगढ़ पुलिस ने इस मामले में दोनों शूटरों को पहले ही गिरफ्तार कर लिया है। इससे पहले भी 11 मार्च को चंडीगढ़ पुलिस ने गोल्डी बराड़ के खिलाफ यूएपीए के तहत मामला दर्ज किया था।
लॉरेंस बिश्नोई-गोल्डी बराड़ गिरोह से जुड़े शूटर गिरफ्तार सेक्टर-11 पुलिस थाना के दर्ज किए गए इस मामले में क्राइम ब्रांच ने लॉरेंस बिश्नोई-गोल्डी बराड़ गिरोह से जुड़े और भी शूटरों को गिरफ्तार किया है। इनमें रोहतक निवासी सनी उर्फ सचिन और उमंग, फरीदाबाद निवासी कैलाश चौहान उर्फ टाइगर और राजस्थान की महिला माया उर्फ पूजा शर्मा शामिल हैं। इन शूटरों का मकसद जिला न्यायालय परिसर में गैंगस्टर राणा की हत्या करना था। इसके लिए उन्होंने वकीलों के कपड़े और गाउन तक खरीद लिए थे, ताकि वे आसानी से न्यायालय में घुसकर वारदात को अंजाम दे सकें।
चंडीगढ़ पुलिस ने अपनी जांच में पाया कि गोल्डी बराड़ लगातार अपने गिरोह के सदस्यों के जरिए शहर में आपराधिक गतिविधियों को अंजाम दे रहा है। पुलिस का मानना है कि इस नए मामले में यूएपीए के तहत कार्रवाई से न सिर्फ गोल्डी बराड़ पर शिकंजा कसने में मदद मिलेगी, बल्कि उसके गुर्गों और अन्य आपराधिक तत्वों को भी एक सख्त संदेश जाएगा।
चंडीगढ़ पुलिस पहले भी गोल्डी बराड़ और लॉरेंस बिश्नोई गिरोह के खिलाफ कई कार्रवाई कर चुकी है। इस बार की कार्रवाई से पुलिस की मंशा साफ है कि वह किसी भी सूरत में शहर में गैंगस्टर गतिविधियों को बर्दाश्त नहीं करेगी।